प्रवास के प्रभाव की विवेचना कीजिए, कोई 3?
प्रवास के प्रभाव की विवेचना कीजिए, कोई 3?
प्रवास (Migration) एक जटिल प्रक्रिया है जो व्यक्तियों और समुदायों दोनों पर गहरा प्रभाव डालती है। इसके कुछ प्रमुख प्रभाव निम्नलिखित हैं:
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आर्थिक प्रभाव:
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स्रोत क्षेत्र पर प्रभाव: प्रवास से स्रोत क्षेत्र में श्रम शक्ति की कमी हो सकती है, जिससे कृषि और अन्य क्षेत्रों में उत्पादन घट सकता है। हालांकि, प्रवासियों द्वारा भेजे गए धन से परिवारों की आर्थिक स्थिति में सुधार हो सकता है।
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गंतव्य क्षेत्र पर प्रभाव: गंतव्य क्षेत्र में श्रम शक्ति बढ़ जाती है, जिससे आर्थिक विकास को बढ़ावा मिल सकता है। प्रवासियों द्वारा नए कौशल और विचारों को लाने से नवाचार और उद्यमिता को भी प्रोत्साहन मिलता है।
उदाहरण: खाड़ी देशों में काम करने गए भारतीय प्रवासियों द्वारा भेजा गया धन भारत की अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण योगदान देता है। RBI रिपोर्ट
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सामाजिक-सांस्कृतिक प्रभाव:
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स्रोत क्षेत्र पर प्रभाव: प्रवास से सामाजिक संरचना और सांस्कृतिक मूल्यों में बदलाव आ सकता है। युवाओं के प्रवास से वृद्धों और महिलाओं पर अधिक जिम्मेदारी आ सकती है।
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गंतव्य क्षेत्र पर प्रभाव: गंतव्य क्षेत्र में सांस्कृतिक विविधता बढ़ती है, जिससे नए विचारों और दृष्टिकोणों को बढ़ावा मिलता है। हालांकि, इससे सामाजिक तनाव और संघर्ष भी हो सकते हैं।
उदाहरण: भारत में विभिन्न राज्यों से शहरों में प्रवास करने वाले लोगों के कारण शहरों में विभिन्न संस्कृतियों का मिश्रण देखने को मिलता है। भारत सरकार पोर्टल
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जनसांख्यिकीय प्रभाव:
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स्रोत क्षेत्र पर प्रभाव: प्रवास से जनसंख्या घनत्व कम हो सकता है और लिंग अनुपात में बदलाव आ सकता है, क्योंकि अक्सर पुरुष प्रवास करते हैं।
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गंतव्य क्षेत्र पर प्रभाव: गंतव्य क्षेत्र में जनसंख्या घनत्व बढ़ जाता है, जिससे आवास, स्वास्थ्य और शिक्षा जैसी बुनियादी सेवाओं पर दबाव बढ़ सकता है।
उदाहरण: बिहार और उत्तर प्रदेश जैसे राज्यों से दिल्ली और मुंबई जैसे शहरों में प्रवास के कारण इन शहरों की जनसंख्या में तेजी से वृद्धि हुई है। भारतीय जनगणना
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