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धनात्मक विचलन और ऋणात्मक विचलन में अंतर?
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धनात्मक और ऋणात्मक विचलन, राउल्ट के नियम से वास्तविक विलयनों के व्यवहार में अंतर को दर्शाते हैं। राउल्ट का नियम बताता है कि किसी विलयन का वाष्प दाब उसके घटकों के मोल अंशों के समानुपाती होता है।
धनात्मक विचलन:
- विलयन का वाष्प दाब राउल्ट के नियम द्वारा अनुमानित मान से अधिक होता है।
- घटकों के बीच आकर्षण बल कमजोर होते हैं। इसका मतलब है कि विलायक-विलायक और विलेय-विलेय के बीच का आकर्षण बल विलायक-विलेय आकर्षण बल से अधिक मजबूत होता है।
- मिश्रण ऊष्माशोषी होता है (ΔH > 0)।
- उदाहरण: इथेनॉल और एसीटोन का मिश्रण।
ऋणात्मक विचलन:
- विलयन का वाष्प दाब राउल्ट के नियम द्वारा अनुमानित मान से कम होता है।
- घटकों के बीच आकर्षण बल मजबूत होते हैं। इसका मतलब है कि विलायक-विलायक और विलेय-विलेय के बीच का आकर्षण बल विलायक-विलेय आकर्षण बल से कमजोर होता है।
- मिश्रण ऊष्माक्षेपी होता है (ΔH < 0)।
- उदाहरण: एसीटोन और क्लोरोफॉर्म का मिश्रण।
संक्षेप में, धनात्मक विचलन आकर्षण बलों के कमजोर होने के कारण होता है, जबकि ऋणात्मक विचलन आकर्षण बलों के मजबूत होने के कारण होता है।